मुंबई । पूर्व ओलंपियन भारोत्तोलक कर्णम मल्लेश्वरी ने कहा है कि टोक्यो खेलों में भारत के सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन से देश में खेल संस्कृति आगे बढ़ेगी। साथ ही कहा कि मीराबाई चानू के ओलंपिक रजत से युवा भारोत्तोलन की ओर आकर्षित होंगे। साल 2000 ओलंपिक भारोत्तोलन में कांस्य पदक विजेता मल्लेश्वरी ने कहा, ‘‘ चानू का पदक 20 साल बाद आया है और इसलिए यह हमारे लिये किसी आक्सीजन की तरह काम कर रहा है। मुझे लगता है कि इस पदक से भविष्य में कई बच्चे प्रेरणा लेंगे और आने वाले दिनों में हमें और अधिक पदक भी मिलेंगे। ’’वहीं टोक्यो ओलंपिक में भारत के प्रदर्शन के बारे में मल्लेश्वरी ने कहा, ‘‘हमने सात पदक जीते हैं। हमने अच्छा प्रदर्शन किया और सबसे खुशी की बात यह रही कि एथलेटिक्स में नीरज चोपड़ा ने स्वर्ण पदक जीता जिसमें हम पदक के बारे में सोच भी नहीं रहे थे।’’ उन्होंने कहा, ‘‘भारत सरकार, साइ (भारतीय खेल प्राधिकरण), खेल मंत्रालय से खिलाड़ियों को जो सहयोग मिला उसने भी आज यह सफलता मिली है। सरकार ने ओलंपियन की हर तरह से मदद की। उन्हें सर्वश्रेष्ठ सुविधाएं और प्रशिक्षण मुहैया कराया गया जिसका परिणाम सामने है। ’’वहीं ओलंपिक पदक जीतने वाली पहली भारतीय महिला मल्लेश्वरी ने कहा कि सरकार के सहयोग के कारण ही खिलाड़ी अच्छा प्रदर्शन कर पाये है। इस कारण अब माता पिता अपने बच्चों को खेल को करियर के रूप में अपनाने के लिए प्रेरित भी कर रहे हैं। उन्होंने कहा, ‘‘लोग जागरूक हुए हैं जबकि पहले संशय रहता था कि खेल को करियर बनाये या नहीं लेकिन आज आप खेलों में भी अच्छा करियर बना सकते हैं। ’’
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