वरिष्ठ उप महाप्रबंधक एवं मुख्य राजभाषा अधिकारी नवीन कुमार सिन्हा को सेवानिवृत्ति पर दी गई भावभीनी विदाई

प्रयागराज।शुक्रवार को नवीन कुमार सिन्हा, वरिष्ठ उप महाप्रबंधक, उत्तर मध्य रेलवे, प्रयागराज के सेवानिवृति के अवसर पर विदाई समारोह का आयोजन किया गया।  सिन्हा, १९८४ बैच के अधिकारी हैं। इन्होंने अपने ३५ वर्ष से अधिक के सेवाकाल के दौरान चितरंजन लोकोमोटिव वक, पूर्व रेलवे, कोलकाता, पूर्व मध्य रेलवे, हाजीपुर पश्चिम मध्य रेलवे, जबलपुर एवं आर.डी.एस.ओ. लखनऊ आदि के रेलवे के कई महत्वपूर्ण पदों पर कार्य किया। सिन्हा को तकनीकि एवं प्रशासनिक कार्यों का व्यापक अनुभव है तथा नकनीकी प्रशिक्षण हेतु यह कई बार विदेशों तथा स्विटजरलैंड, स्वीडन, रूस एवं हॉलैण्ड आदि की यात्राएं की। इसके अतिरिक्त प्रतिनियुक्ति पर यह भारतीय रेल बिजली कम्पनी लिमिटेड, पटना में विशेष कार्याधिकारी (ध्ए) भी रहे।उत्तर मध्य रेलवे में इन्होंने लगभग पौने २ साल के कार्यकाल में कई प्रणाली सुधार लागू किए, जिसके फलस्वरूप कार्यों की गुणवत्ता में सुधार हुआ तथा पुराने प्रकरणों को प्राथमिकता के आधार पर निस्तारण किया गया।  सिन्हा के सेवानिवृति समारोह में उत्तर मध्य रेलवे के सतर्कता विभाग, सामान्य प्रशासन विभाग एवं अन्य विभागों के वरिष्ठ अधिकारीगणों एवं कर्मचारीगणों ने प्रतिभाग किया तथा  सिन्हा के उज्जवल भविष्य की कामनाएं की। समारोह का संचालन  बृजेश कुमार मिश्र, उप मुख्य सतर्कता अधिकारी, उत्तर मध्य रेलवे, प्रयागराज द्वारा किया गया।इसी क्रम राजभाषा विभाग, उत्तर मध्य रेलवे द्वारा भी मुख्य राजभाषा अधिकारी का प्रभार देख रहेr नवीन कुमार सिन्हा को उनकी सेवानिवृत्ति पर विदाई दी गई। इस अवसर पर उप मुख्य राजभाषा अधिकारी एवं उप वित्त सलाहकार एवं मुख्य लेखा अधिकारी, शैलेन्द्र कुमार सिंह ने  सिन्हा को पुष्पगुच्छ और अंगवस्त्रम भेंटकर सम्मानित किया। समारोह में अपने विचार व्यव्त करते हुए नवीन कुमार सिन्हा ने कहा कि राजभाषा का प्रयोग-प्रसार अधिकारियों एवं कर्मचारियों के आपसी सहयोग से बढ़ता है, जिसमें राजभाषा विभाग की महत्वपूर्ण भूमिका होती है। राजभाषा की प्रगति राजभाषा विभाग का मुख्य दायित्व है, अत: विभाग के अधिकारियों और कर्मचारियों को निरंतर ही रचनात्मक कार्यशैली और प्रेरणा एवं प्रोत्साहन की नीति द्वारा इस उद्देश्य को आगे बढ़ाना चाहिए। इस संदर्भ में  सिन्हा ने हिंदी के समृद्ध साहित्य और साहित्यिक एवं सांस्कृतिक गतिवधियों द्वारा अधिक से अधिक अधिकारियों और कर्मचारियों को राजभाषा के प्रयोग-प्रसार के प्रयोजनों से जोड़ने पर विशेष बल दिया। उन्होंने ने बताया कि रेल सेवा के दौरान उन्हें स्वीटजरलैंड, हालैंड, रूस, जर्मनी, स्वीडन आदि देशों में कार्य और प्रशिक्षण का अनुभव मिला है। उन्होंने ने बताया कि उन्हें हिंदी और अंग्रेजी के अतिरिक्त जर्मन भाषा की भी अच्छी जानकारी है। इस अवसर पर उप मुख्य राजभाषा अधिकारी शैलेन्द्र कुमार सिंह, वरिष्ठ राजभाषा अधिकारी चन्द्र भूषण पाण्डेय, कृपा शंकर मिश्र और राजभाषा अधिकारी यथार्थ पाण्डेय ने  सिन्हा के व्यक्तित्व एवं कार्य पर प्रकाश डाला।