नगरी स्वास्थ्य कार्यक्रमों की समीक्षा बैठक, स्वास्थ सेवाओं में बेहतर परिणाम

मऊ।जनसंख्या 2001 के अनुसार प्रदेश में शहरी जनसंख्या 4.44 करोड़ है जिसमें लगभग 25% जनसंख्या शहरी मलिन बस्तियों में निवास करती है। सरकार ने शहरी आबादी विशेष रूप से शहरी गरीब और समाज के अन्य उपेक्षित वर्गों को उत्तम प्राथमिक स्वास्थ्य परिचर्चा सेवाएं उपलब्ध कराने के लिए व्यापक राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन (एनएचएम) के तहत एक उप मिशन के रूप में राष्ट्रीय शहरी स्वास्थ्य मिशन की शुरुआत 15 मई 2013 में की गई। यह मिशन 50,000 से अधिक आबादी वाले सभी नगरों,शहरों एवं सभी जिला मुख्यालयों में शुरू किया गया।नगरी स्वास्थ्य कार्यक्रमों की समीक्षा बैठक का आयोजन सीएमओ कार्यालय के सभागृह में सीएमओ डा.नंदकुमार की अध्यक्षता में किया गया, सर्वप्रथम उन्होंने संबोधन करते हुए कहा की इस बार के जनसंख्या स्थिरता पखवाड़े में जिले का जो प्रदर्शन रहा है वह बहुत ही सराहनीय है।सीएमओ डा. नंद कुमार ने बताया कि आशा के भुगतान में किसी भी तरह की कोताही ना बरतें एवं उनका भुगतान अति शीघ्र किया जाए एवं जो नया नगरी प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र भदेसर है उसे भी अति शीघ्र शुरू किया जाए। वहां पर मेडिकल ऑफिसर और स्टॉप को बैठने के लिए निर्देशित किया गया एवं प्रत्येक नगरी स्वास्थ्य केंद्र को कहा गया कि वह जितना भी एरिया कवर करते हैं। उसका मैप  बनवाकर  अपने नगरी स्वास्थ्य केंद्र पर लगवाएं और जितना भी रिक्त पद है उसे भरने के लिए प्रकिय्रा तुरंत की जाय।डा. बीके यादव अपर मुख्य चिकित्सा अधिकारी ने बताया कि निजी अस्पतालो को अधिक से  अधीक जोड़ने की बात कही ताकी प्रसव  पूर्व सुविधाये , संस्थागत  प्रसव, परिवार नियोजन और बच्चों को नियमित टिकाकरण की रिपोर्ट प्राप्त होवे ताकी भारत सरकार के पोर्टल हेल्थ मैनेजमेट एंड इनफॉरमेशन  सिस्टम एचएमआई एस पर डाटा  अकित कि जा सके और कहा की शहरी प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र पर हर माह परिवार नियोजन कार्यक्रम की भी समीक्षा बैठक अवश्य करें साथ ही नियत अंतराल दिवस खुशहाल परिवार दिवस का आयोजन जरूर करें।पीएसआई इंडिया के केवल सिंह सिसोदिया ने अपने प्रेजेंटेशन में जनसंख्या स्थिरता पखवाड़े में नगरी क्षेत्र में जो कार्यकर्म आयोजित  किये गए  उसकी जानकारी से सभी को अवगत कराया साथ ही आने वाले समय में पीएसआई इंडिया केमिस्टों  के साथ मिलकर परिवार नियोजन के साधनों के रिर्पोटिंग सिस्टम पर भी कार्य करने जा रही है उसके बारे में भी जानकारी भी दी।अरविन्द कुमार वर्मा – डीइआईसी मेनेजर ने कहा कि किशोर स्वास्थ दिवस जो की हर नगरीय नगरिय प्राथमिक स्वास्थ केन्द्रो पर  प्रत्येक  माह की  8 तारिक को होता है उसकी रिपोर्टिंग पर और ध्यान देने की जरुरत है और आने वाले समय में सरकारी स्कुल में सैनिटेरी नैपकिन वितरण भी किया जायेगा।देवेंद्र प्रताप अर्बन कोऑर्डिनेटर ने बताया कि नगरी प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों पर होने वाली ओपीडी की संख्या में जून मंथ की अपेक्षा जुलाई मंथ में 20% से अधिक की बढ़ोतरी हुई है।जुलाई महीने में नागरिक प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों की ओपीडी टीकाकरण प्रसव पूर्व एवं प्रसव पश्चात जांच आउटरीच सेवाओं के बारे में जानकारी दी।इस कार्यक्रम में जिला कार्यक्रम प्रबंधक रविंदर नाथ , सहायक शोध अधिकारी सुनील सिंह एवं जिला कम्यूनिटी प्रोसेस मैनेजर संतोष सिंह ने भी अपने विचार व्यक्त किये।स्वास्थ्य शिक्षा अधिकारी यूसुफ शाह, यू-पीएचसी के प्रभारी चिकित्सालय  अधिकारिय डा. जावेद अख्तर, डा. अभिषेक राय, डा. मो. फैजान तरफदार, डा.हरिश्चन्द्र जायसवाल, मो. शरीफ – जिला परिवार नियोजन विशेषज्ञ, बबलू कुमार, यूनिसेफ से रजिया ,मोहम्मद सलीम, डब्ल्यूएचओ से चंद्रभान भी उपस्थित रहे।