नई दिल्ली। भारतीय रियल एस्टेट क्षेत्र में 2017-22 के दौरान विदेशी संस्थागत निवेश के रूप में 26.6 अरब अमेरिकी डॉलर मिले। यह आंकड़ा इससे पहले के छह वर्ष के मुकाबले तीन गुना है। रियल एस्टेट सलाहकार कंपनी कोलियर्स इंडिया ने यह जानकारी दी। उसके मुताबिक इस निवेश में अमेरिका और कनाडा की 70 प्रतिशत हिस्सेदारी है। कोलियर्स इंडिया ने एक रिपोर्ट में उन कारणों के बारे में बताया, जिनके चलते वैश्विक निवेशकों के लिए भारत एक पसंदीदा विकल्प है। सलाहकार ने कहा कि उद्योग में बड़े संरचनात्मक, नीतिगत सुधारों से पारदर्शिता और कारोबारी सुगमता बढ़ी है, जिसकी वजह से पिछले कुछ वर्षों में भारत में विदेशी निवेश बढ़ा है। आंकड़ों के अनुसार रियल एस्टेट में कुल संस्थागत निवेश 2017-22 में बढ़कर 32.9 अरब डॉलर हो गया, जो 2011-16 में 25.8 अरब डॉलर था। इसमें विदेशी संस्थागत निवेश 8.2 अरब डॉलर से बढ़कर 26.6 अरब डॉलर हो गया। हालांकि इस दौरान घरेलू निवेशकों का निवेश 17.6 अरब डॉलर से घटकर 6.3 अरब डॉलर रह गया।
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