वाशिंगटन। अमेरिका में इस साल मंदी आ सकती है, फेडरल रिजर्व की ओर से जारी मिनट्स में इस बात की आशंका जताई गई है। फेडरल रिजर्व की ओर से जारी मिनट्स में कहा गया है कि अमेरिका की बैंकिंग संकट की वजह से इस साल के आखिर तक मंदी आ सकती है। हालांकि फेडरल रिजर्व को महंगाई के मोर्चे पर बड़ी राहत मिली है, लेकिन क्या इससे ब्याज दरों की बढ़ोतरी रुकेगी और अगर नहीं, तो फिर इकोनॉमी को फेड कैसे संभालेगा।फेड के सदस्यों ने इस बात की आशंका जताई है कि इस साल के अंत तक मंदी आएगी और इस मंदी से रिकवर होने में कम से कम दो साल का वक्त लगेगा। फेड के सदस्यों ने मिनट्स में कहा कि अमेरिका के बैंकिंग सेक्टर में जो कुछ भी हुआ है, उसका असर घरों, कारोबार और आर्थिक गतिविधियों, हायरिंग और महंगाई पर पड़ा है क्योंकि कर्जों को लेकर सख्ती बढ़ है।फेड के वाइस चेयरमैन माइकल बार का कहना है कि अमेरिका का बैंकिंग सिस्टम मजबूत और लचीला बना रहेगा, हालांकि इकोनॉमी पर इसका विपरीत प्रभाव देखन को मिल सकता है। फेड के मिनट्स में अधिकारियों ने अनुमान लगाया गया है कि साल 2023 में जीडीपी सिर्फ 0.4 फीसदी रह सकती है। अब इससे अर्थशास्त्री ये अनुमान लगा रहा है कि फेड ब्याज दरों में बढ़ोतरी पर लगाम कसेगा, लेकिन फेड के अधिकारियों की सोच कुछ और है, वो महंगाई को काबू करने के लिए एक और बढ़ोतरी की गुंजाइश देखते हैं।
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