इस्लामाबाद। पाकिस्तान के इलेक्ट्रॉनिक मीडिया की निगरानी की जिम्मेदारी संभालने वाली संस्था ने रविवार को पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान के लाइव (सीधा प्रसारण) और रिकॉर्ड किए गए भाषणों के टीवी चैनलों पर प्रसारण पर तत्काल प्रभाव से प्रतिबंध लगा दिया है। इससे कुछ घंटे पहले ही खान पर तोशाखाना मामले में गिरफ्तारी की तलवार लटक रही थी। हालांकि सात मार्च को अदालत में पेश होने का हवाला देकर वह इससे बच गए थे। उन्होंने इसके बाद सरकारी संस्थानों के खिलाफ भड़काऊ भाषण दिए थे। पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (पीटीआई) प्रमुख इमरान खान ने लाहौर के जमां पार्क स्थित अपने घर के बाहर पार्टी कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए कहा था कि वह कभी किसी व्यक्ति या संस्थान के आगे नहीं झुके हैं।इमरान खान ने सत्तारूढ़ दलों के नेताओं पर भी निशाना साधा और आरोप लगाया कि उन्होंने अपनी संपत्ति विदेशों में जमा कर रखी है और उन्हें पाकिस्तान के पूर्व सेना प्रमुख जनरल (सेवानिवृत्त) कमर जावेद बाजवा ने कानूनी मामलों में संरक्षण दिया है। पाकिस्तान इलेक्ट्रॉनिक मीडिया नियंत्रण प्राधिकरण (पीईएमआरए) ने पिछले निर्देशों का हवाला दिया जिसमें सभी लाइसेंसधारियों को सरकारी संस्थानों के खिलाफ किसी भी सामग्री को प्रसारित करने से परहेज करने की हिदायत दी गई थी। प्राधिकरण ने कहा कि खान ने अपने भाषण में सरकारी संस्थानों और अधिकारियों के खिलाफ अपने भड़काऊ बयानों के माध्यम से आधारहीन आरोप लगाए हैं और नफरत फैलाने वाले भाषण दिए हैं, जो कानून- व्यवस्था को बनाए रखने के लिए प्रतिकूल है।पीईएमआरए ने कहा कि इस तरह के भाषणों का प्रसारण करना संविधान और उच्चतम न्यायालय के आदेशों का उल्लंघन है। उसने टीवी चैनलों को चेताया कि इसका पालन नहीं करने पर उनके लाइसेंस को निलंबित किया जा सकता है। यह पहली बार नहीं है, जब पीईएमआरए ने टीवी चैनलों पर खान के भाषणों के प्रसारण पर प्रतिबंध लगाया है।
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