इस्लामाबाद। इमरान की पार्टी पीटीआई लगातार सरकार पर हमलावर है। शाहबाज सरकार पर अंगुली उठाते समय पार्टी नेता न्यायपालिका को भी इसमें शामिल करने से बाज नहीं आ रहे हैं। ताजा मामला पीटीआई के वरिष्ठ नेता और इमरान खान के करीबी फवाद चौधरी का है। उन्होंने न्यायपालिका पर सवाल उठाकर कहा है कि कोर्ट आडियो लीक पर ध्यान नहीं दे रहा है, केवल जजों की नियुक्ति को लेकर आपस में बहस करने में उलझा हुआ है।वहां ये कहने से भी नहीं चूके की यदि जजों की आडियो लीक होती, तब वहां अब तक काफी कुछ कर जाते, लेकिन पीएम की लीक आडियो क्लिप पर कोर्ट कोई ध्यान ही नहीं दे रहा है। उनके दिए बयान से अब सवाल ये उठता है कि क्या न्यायपालिका उन्हें लेकर भी कड़ा रुख अपनाएगी। इसकी भी काफी आशंका है कि सरकार चौधरी के बयानों को लेकर कोर्ट का दरवाजा खटखटाए। पीटीआई नेता का ये बयान उस समय में आया है, जब कुछ ही दिन पहले ही इसी तरह के एक मामले में पीटीआई चीफ और पूर्व पीएम इमरान खान को कोर्ट ने लिखित में माफी मांगने के बाद छोड़ दिया था। उन्होंने एक रैली में पीटीआई के नेता को रिमांड पर भेजने वाली सेशन जज जेबा चौधरी को कहा था कि जब उनकी सरकार आएगी, तब वहां उन्हें देख लेगी। इस बयान पर सरकार ने बड़ा हो-हल्ला किया था और न्यायपालिका ने भी इस पर कड़ा रुख इख्तियार किया था। इसके बाद में इमरान खान को तीन बार कोर्ट में लिखित रूप में हलफनामा देकर माफी मांगनी पड़ी थी।चौधरी ने कहा कि पीएम हाउस से लीक हुई आडियो लीक पर कोर्ट को ध्यान देना चाहिए और इसको एक्सपोज किया जाना चाहिए। उन्होंने यहां तक कहा कि क्या वहां अपने देश का मजाक बना रहे हैं? आखिर कौन इनका जवाब देगा? उन्होंने कहा कि पीएम हाउस देश का सबसे सुरक्षित माना जाना वाली एक जगह है। यदि वहां पर इस तरह की चूक होती है, तब फिर हम किस तरह से अपने परमाणु ताकत होने की रक्षा कर सकते हैं। फवाद ने कहा कि पीएम आफिस की सुरक्षा में लगी विभिन्न एजेंसियों को शर्म आनी चाहिए। देश में ये सब कुछ क्या हो रहा है।
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