देवरिया | मुख्य विकास अधिकारी रवींद्र कुमार की अध्यक्षता में जल जीवन मिशन(ग्रामीण) तथा सोशल ऑडिट के योजनाओं की समीक्षा गूगल मीट के माध्यम से की गयी, जिसमें अधिशासी अभियन्ता जल निगम (ग्रामीण) द्वारा अवगत कराया गया कि मे० एल०सी० इन्फ्रा प्रा0लि0 217 नग परियोजनाओं का कार्य प्रारम्भ करा दिया है, जिसमें शिरोपरि जलाशय 83 नग का कार्य प्रगति पर है, 538 कि०मी० पाइप लाइन ग्राम पंचायतों में डाल दी गयी है व FHTC 10720 नग कनेक्शन कर दिये गये हैं एवं एवं मे० गायत्री प्रोजेक्ट लि० द्वारा 154 नग परियोजना का कार्य प्रारम्भ कराया गया है, जिसमें शिरोपरि जलाशय 16 नग का कार्य प्रगति पर है, 275 कि०मी० पाइप लाइन ग्राम पंचायतों में डाल दी गयी है व FHTC 5475 नग कनेक्शन कर दिये गये है व प्रोजेक्ट मैनेजर अनिल कुमार यादव व रामानुज तिवारी को निर्देश दिए गए हैं कि जितनी योजनाओं का SLSSC Approved हो गया है उसको तत्काल ट्राई पार्टी एग्रीमेंट डी०पी०आर०ओ० कार्यालय में जमा करायें। दोनो फर्मों के धीमी प्रगति होने के कारण कड़े निर्देश दिये गये कि 40 ट्यूबवेल का कार्य व मे० एल०सी० इन्फ्रा प्रा०लि० को FHTC 3000 नग, मे0 गायत्री प्रोजेक्ट लि0 FHTC 2000 नग कनेक्शन की प्रगति को 10 दिवस के अन्दर बढ़ायें।जनपद में कार्यरत 7 आई०एस०ए० (इम्प्लीमेन्ट सपोर्ट एजेन्सी) जिसमें कुमुद फाउण्डेशन के आंवटित ग्राम पंचायतों की संख्या 114 है, जिसमें 80 ग्रामों में खाते खुलवाये है। इसी तरह मानव उत्थान समितिक को आवंटित ग्राम पंचायतों की संख्या 130 है जिसमें से 117 ग्रामों में खाते खुलवाये गये हैं जो कम है। ग्रामवासियों से केपेक्स एकाउण्ट कम होने के कारण नाराजगी व्यक्त करते हुए इसे बढ़ाने के निर्देश दिये गये तथा धीमी प्रगति पर दोनों फर्मों के अधिशासी अभियन्ता, जल निगम (ग्रामीण) द्वारा नोटिस देने के निर्देश दिये गये।सोशल ऑडिट के समीक्षा के दौरान वर्ष 2019-22 में वित्तीय अनियमितता की धनराशि 35.43 लाख, वसूल की गयी धनराशि 5.59 लाख, तथा वर्ष 2021-22 में वित्तीय अनियमितता की धनराशि 13.43लाख, वसूल की गयी धनराशि 0.88 लाख पायी गई।कार्यक्रम अधिकारी / खण्ड विकास अधिकारी, देवरिया सदर, गौरीबाजार, लार व तरकुलवा द्वारा वित्तीय प्रकरणों की वसूली व कराये जाने के कारण उन्हें कारण बताओ नोटिस निर्गत किया गया। इसी प्रकार विकास खण्ड-भटनी व गौरीबाजार द्वारा ए०टी०आर० अपलोड नहीं किये जाने के कारण निर्देशित किया गया कि 30 जुलाई को प्रस्तावित बैठक के पूर्व वसूली व ए०टी०आर० क्लोज की कार्यवाही पूर्ण नहीं किया जाता है तो विभागीय कार्यवाही प्रस्तावित की जायेगी।
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