बहराइच। वन्य जीवों के लिए उभरते खतरे के दृष्टिगत डब्लूसीसीबी एवं डब्लूटीआई के संयुक्त तत्वावधान में वाइल्डलाइफ आर्टकिल आईडेन्टीफिकेशन विषयक एक दिवसीय कार्यशाला का आयोजन कतर्नियाघाट वन्यजीव प्रभाग के कतर्नियाघाट रेंज अन्तर्गत ईको पर्यटन परिसर (घडियाल सेंटर) स्थित प्रकृति परिचय केन्द्र व व्याख्यान केन्द्र में किया गया। जिसमें वन विभाग, पुलिस एवं सशस्त्र सीमा बल के अधिकारियों, कर्मचारियों द्वारा संयुक्त रूप से प्रतिभाग किया गया। इंस्पेक्टर वाइल्ड लाइफ क्राइम कन्ट्रोल व्यूरों ए.प्रगतीश, मनीष सिंह तोमर सीनियर फील्ड आफिसर वाइल्ड लाइफ क्राइम कन्ट्रोल डिवीजन, वाइल्ड लाइफ ट्रस्ट आफ इण्डिया तथा वाइल्ड लाइफ ट्रस्ट आफ इण्डिया के प्रशिक्षकों द्वारा वन्य जीव अपराध रोकने के लिए प्रशिक्षुओं को प्रशिक्षित किया गया। वन्य जीवों की तस्करी से सम्बन्धित वस्तुओं एवं ट्राफी आदि के बारे में विस्तृत जानकारी दी गई। कार्यक्रम में साइबर वन्य जीव अपराध को रोकने के लिए विशेष रूप से बल दिया गया। आयोजित कार्यशाला के मुख्य अतिथि संजय कुमार मुख्य वन संरक्षक एवं फील्ड डायरेक्टर दुधवा टाइगर रिजर्व लखीमपुर खीरी रहे। कार्यक्रम की अध्यक्षता प्रभागीय वनाधिकारी कतर्नियाघाट वन्य जीव प्रभाग आकाश दीप बधावन ने की। कार्यक्रम में मुख्य रूप से वीरेन्द्र कुमार कमाण्डेंट 70 वाहिनीं बटालियन सशस्त्र सीमा बल लखीमपुर खीरी, पुलिस क्षेत्राधिकारी नानपारा जंग बहादुर यादव, नानपारा, मिहींपुरवा, कतर्नियाघाट वन्य जीव प्रभाग के समस्त क्षेत्रीय वन अधिकारी, वन दरोगा, कतर्नियाघाट वन्य जीव प्रभाग के अन्तर्गत भारत-नेपाल सीमा पर तैनात 59वीं बटालियन, 70वीं बटालियन सशस्त्र सीमा बल के समस्त कम्पनी कमाण्डर व बीओपी इंचार्ज, थानाध्यक्ष मोतीपुर व सुजौली मौजूद रहे।
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