फतेहपुर। उचित दर विक्रेताओं के खिलाफ सोमवार को ग्राम प्रधानों ने मोर्चा खोल दिया। जिला पूर्ति अधिकारी को ज्ञापन सौंपकर उचित दर विक्रेताओं पर आरोप लगाया कि राजनीति से प्रेरित होकर वह अपने सहयोगियों के राशन कार्ड बना रहे हैं। मांग की गई कि ग्राम पंचायत की सहमति से ही राशन कार्ड बनवाने का कार्य किया जाए। राष्ट्रीय पंचायती राज ग्राम प्रधान संगठन के जिलाध्यक्ष नदीम उद्दीन पप्पू की अगुवाई में प्रधानों का एक प्रतिनिधि मंडल जिला पूर्ति कार्यालय पहुंचा जहां डीएसओ को ज्ञापन सौंपकर बताया कि ग्राम पंचायतों में उचित दर विक्रेताओं द्वारा मनमानी तरीके से ग्राम पंचायत के बिना किसी जानकारी के राशन कार्ड जारी करवाए जाते हैं। ग्राम पंचायतों के उचित दर विक्रेता 75 प्रतिशत ग्राम पंचायत में राजनीति से प्रेरित होकर अपने सहयोगियों का राशन कार्ड बनवाते हैं। जो प्रधान के पक्ष के लोग होते हैं उनका राशन कार्ड कट जाता है। पूछने पर बताते हैं कि ऊपर से कट गया है जबकि ग्राम पंचायत की 80 प्रतिशत आबादी ग्राम प्रधान के ऊपर निर्भर रहती है। ग्राम प्रधान चाहकर भी पात्र व्यक्तियों का राशन कार्ड नहीं बनवा पाते। गांव का कोटेदार सुविधा शुल्क लेकर तत्काल राशन कार्ड बनवा देता है चाहे वह पात्र हो या अपात्र। यदि कोई प्रधान आवेदन लेकर सप्लाई आफिस जाता है तो वहां पर कोई ये पूछने वाला नहीं मिलता कि आप कौन हैं और क्या काम है। प्रतिनिधि मंडल ने बताया कि यदि किसी तरह से राशन कार्ड बनाने की बात भी होती है तो सुविधा शुल्क मांगा जाता है। ग्राम पंचायतों को पात्रता की जानकारी उपलब्ध कराई जाए। डीएसओ से मांग किया कि ग्राम पंचायत की सहमति के न किसी का राशन कार्ड काटा जाए और न ही नया बनाया जाए। कोटेदारों को आदेशित किया जाए कि हर महीने राशन का सत्यापन ग्राम पंचायत से करवाएं। इस मौके पर उमाशंकर लोधी, अनिल कुमार पाल, आदित्य कुमार, जितेंद्र कुमार साहू, मनोज कुमार, रीना देवी, श्रीमती देवी, स्वामी शरन पाल, उदय सिंह, गुलाम मोहम्मद भी मौजूद रहे।
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