नई दिल्ली। एलआईसी के शेयर को लिस्ट हुए एक महीने हो गए। एक महीने में ही देश की सबसे बड़ी बीमा कंपनी एलआईसी का मार्केट कैप 31 फीसदी कम हो गया है। आईपीओ के इश्यू प्राइस के मुकाबले निवेशकों के 1.86 लाख करोड़ रुपए का नुकसाना हो गया है। एलआईसी के शेयर शुक्रवार को बीएसई पर 2.17 फीसदी की गिरावट के साथ बंद हुए। मौजूदा कीमत स्तर पर एलआईसी का मार्केट कैप 4,14,097.60 करोड़ रुपए है। एलआईसी वर्तमान में मार्केट कैप के मामले में बीएसई पर सातवीं सबसे मूल्यवान कंपनी है। लिस्टिंग के वक्त ये पांचवीं नबंर थी। एक महीने पहले 17 मई को एलआईसी के शेयर 8 फीसदी से अधिक के डिस्काउंट के साथ लिस्ट हुए थे। उस सप्ताह के बाद, एलआईसी के शेयरों ने भी 920 रुपए के सर्वकालिक उच्च स्तर को छुआ लेकिन फिर एलआईसी के शेयरों में गिरावट देखने को मिलने लगी और बाजार में मंदी के रुख के कारण भारी गिरावट दर्ज की। एलआईसी आईपीओ का इश्यू प्राइस 949 था, जिसका बाजार मूल्यांकन 6,00,242 करोड़ था। एक महीने बाद इसके आईपीओ इश्यू प्राइस की तुलना में, एलआईसी के शेयरों में 31 फीसदी से अधिक की गिरावट आई है। 17 जून शुक्रवार को बाजार बंद होने पर इसका मार्केट कैप 1,86,142.4 करोड़ तक कम हो गया है।एलआईसी ने 4 मई से 9 मई तक 21,000 करोड़ रुपए का आईपीओ लॉन्च किया था। यह भारतीय आईपीओ बाजार के इतिहास में अब तक का सबसे बड़ा आईपीओ है। आईपीओ को सफलतापूर्वक 2.95 गुना सब्सक्रिप्शन मिला था। बाजार के विशेषज्ञों के मुताबिक अगर आने वाले नतीजों में सुधार का संकेत मिलता है तो शेयर में नए सिरे से खरीदारी हो सकती है, इसके शेयर की कीमत बढ़ सकती है। एलआईसी का 1.1 गुना एम्बेडेड मूल्य पर जारी मूल्य उचित था। उस दृष्टिकोण से, वर्तमान बाजार मूल्य आकर्षक है। आईपीओ में आवंटन प्राप्त करने वाले दीर्घकालिक निवेशक अपनी औसत शेयर प्राइस को नीचे लाने के लिए वर्तमान दर पर कुछ और खरीद सकते हैं।
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