न्यूयार्क । संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंतोनियो गुतारेस ने अफगानिस्तान के मौजूदा हालात पर चिंता जताते हुए कहा कि अफगानिस्तान के हालात नियंत्रण से बाहर हो रहे हैं। उन्होंने तालिबान से फौरन निर्दोष नागरिकों पर हमले रोकने को कहा कि सैन्य ताकत के जरिए सत्ता छीनना एक असफल प्रयोग है। उन्होंने तालिबान को आगाह करते हुए कहा कि इसका नकारात्मक प्रभाव यह होगा कि अफगानिस्तान लंबे समय तक गृहयुद्ध की आग में झुलसता रहेगा और युद्धग्रस्त राष्ट्र दुनिया में अलग-थलग पड़ जाएगा। गुतारेस ने कहा ऐसा देश जो दुखद रूप से पीढ़ियों से संघर्षों के लिए जाना जाता है, अफगानिस्तान एक बार फिर अराजक एवं हताशा भरे दौर में प्रवेश कर गया है। यह जो लंबे समय से युद्धग्रस्त लोगों के लिए एक और तकलीफदेह और अविश्वसनीय त्रासदी है। उन्होंने देश में गंभीर स्थिति पर चिंता जाहिर करते हुए कहा, अफगानिस्तान नियंत्रण से बाहर हो रहा है। संयुक्त राष्ट्र प्रमुख ने देश भर की प्रांतीय राजधानियों पर तेजी से कब्जा कर रहे तालिबान से तत्काल हमले रोकने की और अफगानिस्तान और उसके लोगों के हित में ईमानदारी से बातचीत करने की अपील की। गुतारेस ने कहा, युद्ध के मार्ग पर चल रहे लोगों को अंतरराष्ट्रीय समुदाय का संकेत स्पष्ट है : सैन्य ताकत से सत्ता हासिल करना एक विफल कदम है। उन्होंने आगाह किया कि यह केवल लंबे समय तक गृहयुद्ध या अफगानिस्तान के पूर्ण अलगाव का कारण बनेगा। उन्होंने कहा कि नागरिकों पर हमले करना अंतरराष्ट्रीय कानूनों का खुला उल्लंघन है। यह युद्ध अपराध के बराबर है। उन्होंने अपराधियों को जवाबदेह ठहराने का आह्वान किया।संयुक्त राष्ट्र प्रमुख ने कहा वह इन शुरुआती संकेतों को लेकर भी बहुत परेशान हैं कि तालिबान अपने नियंत्रण वाले क्षेत्रों में मानवाधिकारों पर, खासकर महिलाओं और पत्रकारों को निशाना बनाते हुए, गंभीर प्रतिबंध लगा रहा है। उन्होंने कहा अफगान लड़कियों और महिलाओं के कड़ी मेहनत से जीते गए अधिकारों को उनसे छीने जाने की खबरें देखना विशेष रूप से भयावह और हृदयविदारक है। गुतारेस ने आशा व्यक्त की कि अफगानिस्तान और तालिबान के प्रतिनिधियों के बीच दोहा में चर्चा जो क्षेत्र और व्यापक अंतरराष्ट्रीय समुदाय द्वारा समर्थित है, बातचीत के जरिए संघर्ष के समाधान का मार्ग बहाल करेगी।
Share on Facebook
Follow on Facebook
Add to Google+
Connect on Linked in
Subscribe by Email
Print This Post