एआई तकनीक का इस्तेमाल कर धोखेबाज ने खाते में डलवाए 5 करोड़

बिजिंग। अब धोखेबाज एआई तकनीक का इस्तेमाल कर फ्रॉड करने का नया तरीका अपना लिया है। चीन में एक व्यक्ति ने ऐसा ही किया। दोस्त ने वीडियो कॉल कर पैसा मांगा, तो शख्स ने उसे 5 करोड़ रुपये दे दिए। बाद में पता चला कि वह उसका दोस्त नहीं था, बल्कि किसी ने एआई तकनीक का इस्तेमाल कर उससे फ्रॉड किया था। तकनीक ह्यूमन लाइफ को काफी आसान बनाती है। इसके ढेरों फायदे हैं, लेकिन हर नई तकनीक के साथ ही उससे खिलवाड़ करने वाले भी आ जाते हैं। एआई के साथ भी ऐसा ही हुआ है। फ्रॉड करने वाले एआई का जमकर इस्तेमाल कर रहे हैं। वे एआई से फर्जी वेबसाइट बना रहे हैं और फिशिंग मैसेज भेजकर लोगों को लूट रहे हैं। अब फर्जी वीडियो कॉल का मामला भी सामने आ चुका है।एआई का इस्तेमाल कर डीपफेक इमेजेज और वीडियोज बनाई जा रही है। उत्तरी चीन में धोखेबाजों ने डीपफेक तकनीक का यूज कर एक व्यक्ति को 5 करोड़ रुपये का चूना लगा दिया। डीपफेक्स ऐसी ऑनलाइन तस्वीरें और वीडियो होती हैं, तो रियल दिखती हैं और इन्हें गलत सूचनाएं फैलाने के लिए इस्तेमाल किया जा रहा है।उत्तरीमें एक स्कैमर ने काफी एडवांस डीपफेक तकनीक का इस्तेमाल किया और एक व्यक्ति को अपने खाते में पैसे ट्रांसफर करने के लिए मना लिया। स्कैमर ने यहां एआई पावर्ड फेस-स्वैपिंग तकनीक का इस्तेमाल किया और पीड़ित का करीबी दोस्त बनकर उससे फ्रॉड किया। मीडिया की एक रिपोर्ट से यह जानकारी मिली है। रिपोर्ट के अनुसार बाओटौ शहर की पुलिस ने कहा कि स्कैमर ने वीडियो कॉल करके पीड़ित के दोस्त का रूप धारण किया और उसे 4.3 मिलियन युआन यानी करीब 5 करोड़ रुपये ट्रांसफर करने को कहा। इस घटना ने वित्तीय अपराधों को अंजाम देने के लिए एआई के इस्तेमाल को लेकर दुनियाभर में चिंता बढ़ा दी है।