नई दिल्ली। गर्मी के दिनों में आने वाला आम ऐसे साइलेंट साइड इफेक्ट्स के साथ आता है जो शरीर के लिए बेहद नुकसानदायक हैं। जानकारों का मानना हैं कि यदि आम को सही ढंग से ना खाया जाए तो इससे हमारी सेहत पर बड़ा बुरा असर होगा। आम खाने से शरीर में एलेर्जी होने का खतरा बढ़ सकता है। लेटेक्स एलर्जी से पीड़ित लोगों को आम नुकसान पहुंचा सकता है। खासतौर से जब कोई सिंथेटिक मैटीरियल के प्रति संवेदनशील हो। दरअसल आम में पाए जाने वाला प्रोटीन लेटेक्स के समान ही होता है जो पहले से एलेर्जी का शिकार लोगों के लिए मुश्किल खड़ी कर सकता है। स्वादिष्ट और मीठे आम में नेचुरल शुगर कंटेंट बहुत ज्यादा होता है, जिसके कारण यह तेजी से ब्लड शुगर लेवल को बढ़ा सकता है। हेल्थ एक्सपर्ट्स कहते हैं कि डायबिटीज या अन्य लाइफस्टाइल डिसॉर्डर के मामले में नेचुरल शुगर शरीर में रेगुलर शुगर की तरह की व्यवहार करती है। इसलिए ऐसे लोगों को आम की क्वांटिटी यानी उसके पोर्जन साइज पर भी ध्यान देना चाहिए।आम की कुछ किस्में ऐसी भी हैं जिनमें फाइबर की मात्रा उसकी गुठली और छिलके से भी कम पाई जाती है, जिन्हें आमतौर पर लोग नहीं खाते हैं। इस तरह का आम हमारे डाइजेशन प्रोसेस को सपोर्ट नहीं करता है। इसलिए डॉक्टर्स हमेशा फाइबर से भरपूर आम खाने की सलाह देते हैं जो डाइजेशन प्रोसेस के लिए बेहतर माने जाते हैं। एक्सपर्ट्स कहते हैं कि बहुत ज्यादा आम खाने से हमारा वजन तेजी से बढ़ सकता है। ऐसा इसलिए होता है क्योंकि दूसरे फलों के मुकाबले आम में कम कैलोरी, हाई नेचुरल शुगर और हाई कैलोरी पाई जाती है। यही कारण है कि इसका अतिरिक्त मात्रा में सेवन आपका वजन बढ़ा सकता है।ज्यादा आम खाने से कुछ लोगों को एनाफिलेक्टिक शॉक की दिक्कत हो सकती है। यह एक प्रकार का एलेर्जिक रिएक्शन होता है जिसमें मितली, उल्टी और सदमा जैसे लक्षण महसूस होते हैं। यदि इस रिएक्शन का समय पर इलाज ना किया जाए तो व्यक्ति बेसुध हो सकता है। हेल्थ एक्सपर्ट्स के मुताबिक, आम का अत्यधिक मात्रा में सेवन जीआई डिस्ट्रेस (गैस्ट्रोइंटेसटाइनल डिस्ट्रेस) को बढ़ावा दे सकता है। दरअसल इसमें मौजूद कार्बोहाइड्रेट IBS यानी इरिटेबल बोवेल सिंड्रोम को ट्रिगर कर सकती है और डाइजेस्टिव सिस्टम को खराब कर सकती है।
Share on Facebook
Follow on Facebook
Add to Google+
Connect on Linked in
Subscribe by Email
Print This Post